वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (SSP) गोरखपुर ने सख्त कार्रवाई करते हुए तिवारीपुर थाना प्रभारी, चौकी इंचार्ज और SSI को निलंबित कर दिया है। इन अधिकारियों पर एक गंभीर मामले में मुकदमे की धाराओं को हल्का करने और आरोपी पक्ष को फायदा पहुंचाने का आरोप है। सूत्रों के मुताबिक, तिवारीपुर थाना और सूर्यविहार चौकी पर दलालों का दबदबा बढ़ गया था, जहां पैसे लेकर मामलों को 'मैनेज' किया जा रहा था।
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गोरखपुर SSP का बड़ा एक्शन: थाना प्रभारी, चौकी इंचार्ज और SSI निलंबित, FIR में 'खेल' करना पड़ा भारी!
गोरखपुर। गोरखपुर SSP का बड़ा एक्शन: थाना प्रभारी, चौकी इंचार्ज और SSI निलंबित, FIR में 'खेल' करना पड़ा भारी! वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (SSP) गोरखपुर ने सख्त कार्रवाई करते हुए तिवारीपुर थाना प्रभारी, चौकी इंचार्ज और SSI को निलंबित कर दिया है। इन अधिकारियों पर एक गंभीर मामले में मुकदमे की धाराओं को हल्का करने और आरोपी पक्ष को फायदा पहुंचाने का आरोप है। सूत्रों के मुताबिक, तिवारीपुर थाना और सूर्यविहार चौकी पर दलालों का दबदबा बढ़ गया था, जहां पैसे लेकर मामलों को 'मैनेज' किया जा रहा था।
पुलिस द्वारा मुकदमे दर्ज करने में की गई हेराफेरी का यह मामला तिवारीपुर थाना क्षेत्र का है। SSP राजकरन नैय्यर को जब इस मामले की जानकारी मिली, तो उन्होंने तत्काल इसकी जांच कराई। जांच में आरोप सही पाए जाने के बाद, SSP ने रविवार देर रात तत्काल प्रभाव से तिवारीपुर थाना प्रभारी गौरव वर्मा, सूर्यविहार चौकी इंचार्ज अखिलेश तिवारी और एसएसआई संतोष सिंह को निलंबित कर उनके खिलाफ विभागीय जांच के आदेश दिए।
विरोधी पक्ष से 'मैनेज' हुई पुलिस, गंभीर धाराओं को किया गया था दरकिनार
जानकारी के अनुसार, पुलिसकर्मियों ने मारपीट और छेड़खानी के एक मामले में FIR दर्ज करते समय हत्या के प्रयास की धारा नहीं लगाई थी। आरोप है कि उन्होंने आरोपी पक्ष को फायदा पहुंचाते हुए गैर इरादतन धाराओं के तहत मामला दर्ज किया था। SSP राजकरन नैय्यर को जब इस गड़बड़ी की सूचना मिली, तो उन्होंने त्वरित कार्रवाई करते हुए थाना प्रभारी, चौकी इंचार्ज और एसआई को निलंबित कर विभागीय जांच बिठाई। जांच में लापरवाही सामने आने के बाद, FIR में हत्या के प्रयास की धारा जोड़ी गई और चार आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया।
किशोरी और उसकी बहन पर हुआ था जानलेवा हमला
यह मामला तिवारीपुर थाना क्षेत्र के सूर्यविहार इलाके का है। एक किशोरी की मां ने शिकायत दर्ज कराई थी कि पड़ोसियों ने उनकी बेटी को बुरी तरह पीटा, जिससे वह बेहोश हो गई। बचाने आई उसकी बहन को भी पीटकर घायल कर दिया गया और उनके साथ छेड़खानी भी हुई।
थाना प्रभारी, चौकी इंचार्ज और SSI पर लगा 'मैनेजमेंट' का आरोप
जब यह मामला पुलिस के पास पहुंचा, तो पुलिस ने केस तो दर्ज किया, लेकिन आरोप है कि उन्होंने विरोधी पक्ष से 'मैनेज' होकर मामले को हल्का कर दिया और आरोपियों का शांतिभंग में चालान किया। 24 अगस्त को हुई इस घटना की SSP ने जब जांच कराई, तो तिवारीपुर थानेदार गौरव वर्मा, सूर्यविहार चौकी इंचार्ज अखिलेश तिवारी और एसएसआई संतोष सिंह की गंभीर लापरवाही सामने आई। इसके बाद SSP ने तीनों पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई करते हुए विभागीय जांच के आदेश दिए हैं।
जांच के बाद बढ़ीं गंभीर धाराएं, आरोपी पहुंचे जेल
जांच के बाद मामले में हत्या के प्रयास की धारा बढ़ाते हुए चार आरोपियों – मो. अतीफ उर्फ शिब्बू, उसके भाई मो. वसीम, मां शबनम (पत्नी मो. अतीफ उर्फ शिब्बू) और हसीना (पत्नी मो. वसीम) निवासी सूर्यविहार को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है। फिलहाल, तिवारीपुर थाना और सूर्यविहार चौकी इन दिनों 'दलालों का अड्डा' बन चुके हैं, जहां हर मामले में पैसे का खेल चलता है और उसी आधार पर मामले 'मैनेज' किए जाते हैं।
Dr. Tarachand Chandrakar is a respected journalist with decades of experience in reporting and analysis. His deep knowledge of politics, society, and regional issues brings credibility and authority to Nidar Chhattisgarh. Known for his unbiased reporting and people-focused journalism, he ensures that readers receive accurate and trustworthy news.
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